Wednesday, March 30, 2022

49 प्रतिशत जनता बनाम 51 प्रतिशत भीड़ -मंजुल भारद्वाज

49 प्रतिशत जनता बनाम 51 प्रतिशत भीड़

-मंजुल भारद्वाज

49 प्रतिशत जनता बनाम 51 प्रतिशत भीड़  -मंजुल भारद्वाज

अपने आप को पत्रकार कहने वाली कौम का 

गज़ब चमत्कार 

मंहगाई,बेरोज़गारी,खेती को मुद्दा मानने वाली 

49 प्रतिशत जनता को दुत्कार 

वर्णवाद,पाखंड,धूर्तता के वशीभूत

विकारियों को सत्ता पर बिठाने वाली 

51 प्रतिशत भीड़ की जयजयकार !

पत्रकार कहलाने वाली कौम के साथ

हाँ में हाँ मिला रहे हैं बुद्धिजीवी 

सुर मिला रहे हैं तथाकथित प्रगतिशील

इन्हें लोकतंत्र की बस इतनी समझ है 

जिसके आंकड़े ज्यादा वही सरकार है !

इनके लिए नीति,प्रतिरोध,प्रतिपक्ष,जनसंघर्ष

जनसरोकार,संविधान सब बेकार हैं

बस सरकार की जयजयकार है 

यह 49 प्रतिशत जनता के 

विवेक और सरोकारों के हत्यारे हैं 

संघ की धूर्तता और फ़ासीवाद के नक्कारे हैं !

हिन्दू होने के भ्रम से निकल 

कैसे 49 प्रतिशत भीड़ जनता बनी

कैसे धर्म को चुनावी मुद्दा नहीं बनने दिया 

कैसे तानशाह और बुलडोज़र को घुटनों पर ला दिया 

यह उसके जज़्बे को नज़रअंदाज़ करेंगे  

यह चाटुकार कमर तक झुक 

ढोंगी की धूर्तता को सलाम करेंगे !

यह 49 प्रतिशत जनता ही

जवाबदेही,जनसंघर्ष,प्रतिरोध  

लोकतंत्र और संविधान की पैरोकार है

धर्मांध,फ़ासीवादी,विकारी संघ का जवाब है

मेरा इनको सलाम है !

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